बीते 20 मई को सुप्रीम कोर्ट के तीन जजों की बेंच ने ज्ञानवापी केस को वाराणसी जिला जज की कोर्ट को ट्रांसफर कर दिया था। जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस पीएस नरसिम्हा की बेंच ने 51 मिनट चली सुनवाई में साफ शब्दों में कहा था कि मामला हमारे पास जरूर है लेकिन पहले इसे वाराणसी जिला कोर्ट में सुना जाए,कोर्ट ने कहा कि जिला जज 8 हफ्ते में अपनी सुनवाई पूरी करेंगे, सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद 21 मई को सिविल जज सीनियर डिवीजन रवि कुमार दिवाकर की कोर्ट से ज्ञानवापी प्रकरण से संबंधित पत्रावली जिला जज की कोर्ट में स्थानांतरित कर दी गई, आपको बता दें वाराणसी के ज्ञानवापी विवाद मामले में अब कोर्ट ने 12 सितंबर तक के लिए फैसला सुरक्षित रख लिया है। दोनो पक्षों की सुनवाई पूरी होने के बाद कोर्ट अब 12 सितंबर को फैसला सुनाएगा। ज्ञानवापी केस की सुनवाई के दौरान औरंगजेब की भी एंट्री हो गई है। वादिनी महिलाओं का कहना है कि ज्ञानवापी की संपत्ति को वक्फ की संपत्ति कहना एक बहुत बड़ी धोखाधड़ी है। अगर औरंगजेब ने ज्ञानवापी मस्जिद की संपत्ति दान की थी तो वह डीड कोर्ट में पेश की जाए। इस मामले में मुस्लिम पक्ष की ओर से दलीलें पूरी होने के बाद आज हिंदू पक्ष आपत्ति पर जवाब दाखिल करेगा।