सुप्रीम कोर्ट ने अपहरण और नाबालिग से दुष्कर्म के आरोपी की जमानत याचिका पर विचार करते हुए आर्य समाज की ओर से जारी एक विवाह प्रमाणपत्र को स्वीकार करने से इनकार कर दिया. न्यायाधीश अजय रस्तोगी और बीवी नागरत्ना की अवकाशकालीन पीठ ने कहा आरोपी के वकील के उस आरोप को खारिज कर दिया कि दुष्कर्म का दावा करने वाली लड़की बालिग थी और याचिकाकर्ता व उसकी शादी आर्य समाज में हुई थी. पीठ ने कहा कि आर्य समाज को विवाह प्रमाणपत्र जारी करने का कोई अधिकार नहीं है. यह अधिकारियों का काम है. हमें सही प्रमाणपत्र दिखाइए.